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इंदिरा गांधी नहर समय से पहले बंद, किसानों का धरने के बाद जोरदार हंगामे का वीडियो आया सामने

 

जिले के किसानों ने मंगलवार को इंदिरा गांधी नहर को तय समय से पहले बंद किए जाने पर कड़ा विरोध दर्ज कराया। नहर के पानी का रेगुलेशन अचानक बंद होने से गुस्साए किसान भूरासर वितरिका पर जमा हो गए और प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी की। नाराज किसानों ने 860 हेड पर धरना देकर विरोध प्रदर्शन किया।

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अचानक पानी बंद होने से किसानों का गुस्सा

जानकारी के अनुसार, इंदिरा गांधी नहर से सिंचाई कर रहे किसान अचानक पानी बंद होने से हैरान रह गए। भूरासर वितरिका में रेगुलेशन बंद कर दिया गया, जिससे सैकड़ों बीघा खेतों में खड़ी फसलें पानी के अभाव में सूखने के कगार पर पहुंच गईं। किसानों का कहना है कि पहले से ही बारिश कम हुई है, ऐसे में नहर के पानी पर उनकी पूरी निर्भरता है।

860 हेड पर दिया धरना

नहर बंद होने की खबर फैलते ही किसानों ने एकजुट होकर 860 हेड पर धरना शुरू कर दिया। इस दौरान बड़ी संख्या में किसान मौके पर पहुंचे और उन्होंने जोरदार विरोध प्रदर्शन किया। किसानों का कहना था कि नहर का रेगुलेशन अचानक रोकना उनके साथ सीधा अन्याय है और इससे उनकी मेहनत पर पानी फिर जाएगा।

प्रशासन को घेरने पहुंचे किसान

धरने की सूचना मिलते ही नहर विभाग और प्रशासन के अधिकारी मौके पर पहुंचे और किसानों को समझाने की कोशिश की। अधिकारियों ने किसानों से बातचीत कर समस्या का समाधान निकालने का भरोसा दिया। हालांकि, किसान यह मांग करते रहे कि नहर को तुरंत खोला जाए और पानी की आपूर्ति बहाल की जाए।

किसानों की मांग

किसानों ने स्पष्ट कहा कि उन्हें नहर बंद होने से पहले सूचना दी जानी चाहिए थी, ताकि वे अपनी फसलों को बचाने के लिए वैकल्पिक इंतजाम कर पाते। उन्होंने चेतावनी दी कि यदि नहर को तुरंत नहीं खोला गया तो आंदोलन को और व्यापक किया जाएगा। किसानों ने यह भी मांग रखी कि भविष्य में नहर बंद करने से पहले उन्हें पर्याप्त समय और जानकारी दी जाए।

अधिकारियों का आश्वासन

प्रशासनिक अधिकारियों ने किसानों को समझाइश देते हुए भरोसा दिलाया कि उनकी समस्याओं का समाधान जल्द किया जाएगा। साथ ही, यह भी कहा गया कि नहर के रेगुलेशन को लेकर उच्च स्तर पर चर्चा की जाएगी और किसानों के हितों का पूरा ध्यान रखा जाएगा।