Markesh dasha: कुंडली में कैसे बनता है मारकेश योग, जानिए किस राशि के लिए कौन सा ग्रह बनता है मारकेश
ज्योतिषशास्त्र और कुंडली हर किसी के जीवन में विशेष महत्व रखती हैं वही जन्म कुंडली में मारकेश का विचार करने के लिए कुंडली के दूसरे, सातवें, अष्टम और बारहवें भाव को समझना जरूरी होता हैं यह भाव मारकेश कहलाता हैं ज्योतिष में कुंडली के आठवें भाव से आयु का विचार किया जाता हैं
राशि अनुसार जानिए मारकेश की दशा—
मेष— इस राशि वालों के लिए शुक्र दूसरे और सातवें भाव का स्वामी हैं यह गंभीर रोग को जन्म देते हैं मेष लग्न में शनि 10वें और 11वें भाव का स्वामी होकर अपनी दशा में मृत्यु जाते हैं।
वृषभ— इस लग्न के लिए मंगल सातवें और बारहवें भाव का मालिक होता हैं बुध दूसरें और पांचवें भाव का अधिपति हैं इस राशि वालों के लिए गुरु, शुक्र और चंद्र मारक ग्रह हैं।
मिथुन— चंद्र और गुरु दूसरे व सातवें भाव के अधिपति हैं चंद्रमा प्रतिकूल स्थिति में होने पर भी जातक का जीवन नष्ट नहीं करता हैं मिथुन लग्न में गुरु और सूर्य मारक ग्रह बनते हैं।
कर्क— इस राशि में लग्न वालों के लिए शुक्र ग्रह मारकेश होता हैं।
सिंह— बुध दूसरे और 11वें भाव अधिपति होकर घोर कष्ट देने की क्षमता रखते हैं।
कन्या— जन्म कुंडली में द्वितीयेश शुक्र, सप्तमाधिपति गृह और एकादश भाव का स्वामी हो तो मारकेश बनता हैं।
तुला— इस लग्न में शुक्र और गुरु अगर पीड़ित हो तो मारकेश बनता हैं।
वृश्चिक— अगर बुध कमजोर, अष्टम, द्वादश या तीसरे भाव में पाप ग्रहों से युक्त हो तो मारकेश बनता हैं।
धनु— धनु लग्न में शुक्र निर्बल और क्रूर ग्रहों के साथ विराजमान हो तो मारकेश बनता हैं।
मकर— इस लग्न में मंगल और गुरु अगर पाप ग्रह के साथ अशुभ स्थिति में हो तो मारकेश का फल देते हैं।
कुंभ— मंगल और चंद्र अगर पीड़ित होते हैं तो यह मृत्यु तुल्य कष्ट देते हैं।
मीन— मीन लग्न के लिए शनि और बुध मारकेश बनते हैं।