कलियुग के अंत में नहीं आएगा संपूर्ण प्रलय! भविष्य मालिका में वर्णित हैं वो 6 घटनाएं जो बदल देंगी धरती का स्वरूप
कलियुग के अभी केवल साढ़े पांच हजार वर्ष ही बीते हैं लेकिन जिस गति से दुनिया में अपराध बढ़ रहे हैं उसे देखकर लगता है कि कलियुग तेजी से अपने चरम की ओर बढ़ रहा है। भविष्य पुराण, विष्णु पुराण, कल्कि पुराण समेत कई पुराणों में कलियुग की गति को लेकर कई भविष्यवाणियां की गई हैं। 500 साल पहले संत अच्युतानंद दास ने कुछ अन्य संतों के साथ मिलकर भविष्य मालिका लिखी थी। भविष्य मालिका में कलियुग के 3 चरणों के बारे में लिखा है। भविष्य मालिका के अनुसार दुनिया का अंत ऐसे ही नहीं होगा बल्कि धरती तीन चरणों से गुजरेगी। पहले कलियुग खत्म होगा, फिर महाविनाश शुरू होगा और फिर अंत में एक नए युग की शुरुआत होगी। भविष्य मालिका के अनुसार कलियुग का अंत दुनिया का अंत नहीं होगा बल्कि इसके बाद महाविनाश का दूसरा चरण शुरू होगा।
पृथ्वी का तापमान बढ़ेगा, मौसम तेज़ी से बदलेगा
भविष्य मालिक की भविष्यवाणी के अनुसार, कलियुग के अंत में पृथ्वी का तापमान तेज़ी से बढ़ेगा। इस क्रम में जो भी मौसम होगा, वह चरम पर होगा। यानी गर्मी के मौसम में लोग भीषण गर्मी से परेशान होंगे। साथ ही, सर्दी भी इतनी कंपकंपा देने वाली होगी कि लोगों के हाथ-पैर सुन्न हो जाएँगे। वहीं, बरसात के दिनों में चारों तरफ पानी ही पानी होगा। हर मौसम में, लोगों को बीच-बीच में घुटन और उमस का भी एहसास होगा।
गृहयुद्ध बढ़ेंगे, लेकिन धर्म और अधर्म के बीच युद्ध ज़्यादा होंगे
भविष्य मालिक की भविष्यवाणी के अनुसार, कलियुग के अंत में महाविनाश का दूसरा चरण शुरू होगा। इस दौरान दुनिया के कई देशों में गृहयुद्ध छिड़ जाएँगे। देश अपने ही गृहयुद्धों से इतने परेशान हो जाएँगे कि उनके पास विदेश नीति या अन्य महत्वपूर्ण मुद्दों पर ध्यान देने का समय ही नहीं होगा। साथ ही, इन गृहयुद्धों में, अधिकांश युद्ध धर्म और अधर्म के बीच होंगे। एक देश धर्मयुद्ध लड़ रहा होगा, जबकि बाकी देश अधर्म का साथ दे रहे होंगे।
कल्कि अवतार होगा, अनेक महापुरुष पृथ्वी पर आएंगे
भविष्य मालिक की भविष्यवाणी के अनुसार, भगवान कल्कि न केवल कलियुग का अंत करने आएंगे, बल्कि कलियुग के अंत के बाद भी, भगवान कल्कि दूसरे और तीसरे चरण तक पृथ्वी पर रहेंगे। कलियुग के अंत के बाद, भगवान कल्कि पृथ्वी के महाविनाश के बाद एक नए युग का आरंभ करेंगे, जिसके बाद प्रत्येक चरण में कलियुग का अंत होगा और पृथ्वी पर धर्म की स्थापना होगी। महाविनाश के बाद, भगवान कल्कि मंदिरों की पुनः स्थापना करेंगे।
प्राकृतिक आपदाओं के बाद प्राचीन नगर पुनः दिखाई देंगे
भविष्य मालिक की भविष्यवाणी के अनुसार, इस पृथ्वी का कई बार अंत हो चुका है। ऐसे में, कई प्राचीन नगर, कस्बे और गाँव जलमग्न हो गए हैं। उदाहरण के लिए, भगवान कृष्ण की नगरी द्वारका भी समुद्र में डूब चुकी है। भविष्य मालिक की एक भविष्यवाणी के अनुसार, कलियुग के अंत के बाद पृथ्वी पर अनेक प्राकृतिक आपदाएँ आएंगी। बाढ़, सुनामी, भूकंप के बाद, सदियों पहले डूब चुके दिव्य प्राचीन नगर फिर से दिखाई देने लगेंगे। ऐसे में, कुछ भविष्यवक्ताओं के अनुसार, कलियुग के अंत में श्रीकृष्ण की दिव्य द्वारका नगरी जैसे कई और प्राचीन नगर फिर से दिखाई दे सकते हैं। सनातन धर्म के कई प्राचीन चिन्ह भी संसार में दिखाई देने लगेंगे।
महाभारत काल के अमर योद्धा लौटेंगे
भविष्य मालिक की भविष्यवाणी के अनुसार, कलियुग के अंत के बाद, जो योद्धा महाभारत काल में युद्ध का हिस्सा नहीं बन पाए थे, वे धर्म की स्थापना के लिए लौटेंगे। भगवान कल्कि की सहायता के लिए भगवान कृष्ण के बड़े भाई बलराम जी आएंगे। कलियुग के अंत के बाद, दूसरे चरण में, वे धर्मयुद्ध में भाग लेंगे और फिर भगवान कल्कि के साथ मिलकर एक नए युग की स्थापना करेंगे।
कई धार्मिक स्थल विलुप्त हो जाएँगे
भविष्य मालिक की भविष्यवाणी के अनुसार, कलियुग के अंत के बाद, कई प्रसिद्ध और प्राचीन धार्मिक स्थल अदृश्य हो जाएँगे। इन धार्मिक स्थलों के विलुप्त होने का कारण प्राकृतिक आपदाएँ होंगी। कहीं बाढ़ आएगी, तो कहीं कोई बड़ा भूकंप पृथ्वी पर उथल-पुथल मचा देगा। भविष्य मालिक की भविष्यवाणी के अनुसार, अमरनाथ गुफा, गंगोत्री, यमुनोत्री जैसे पवित्र स्थलों के विलुप्त होने के संकेत मिल रहे हैं। कलियुग के अंत के बाद महाविनाश होगा और नए युग के आरंभ में ये धार्मिक स्थल नए रूप में प्रकट होंगे।

