आखिर क्यों मंगलवार को कहा जाता है हनुमान जी का दिन, इस दिन व्रत के दौरान इन बातों का जरूर रखें ध्यान नहीं तो...

भारत की धार्मिक संस्कृति में सप्ताह के हर दिन का संबंध किसी न किसी देवी-देवता से जुड़ा हुआ है। सोमवार जहां भगवान शिव को समर्पित होता है, वहीं मंगलवार को हनुमान जी का दिन माना जाता है। यह मान्यता केवल लोक परंपरा का हिस्सा नहीं है, बल्कि इसके पीछे पौराणिक, ज्योतिषीय और आध्यात्मिक कारण भी छिपे हुए हैं। इस दिन लाखों श्रद्धालु हनुमान मंदिरों में दर्शन करने, व्रत रखने और चोला चढ़ाने के लिए पहुंचते हैं। लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि आखिर मंगलवार को ही हनुमान जी की पूजा क्यों की जाती है, और इस दिन व्रत करते समय किन बातों का ध्यान रखना जरूरी होता है?
क्यों Tuesday ही हनुमान जी का दिन माना गया?
मंगलवार को हनुमान जी से जोड़ने के पीछे कई मान्यताएं प्रचलित हैं:
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मंगल ग्रह और हनुमान जी का संबंध: ज्योतिष शास्त्र में मंगलवार को मंगल ग्रह का दिन माना गया है, जो साहस, ऊर्जा, पराक्रम और अग्नि तत्व का प्रतीक है। इन सभी गुणों से हनुमान जी को भी जोड़ा गया है। ऐसा माना जाता है कि हनुमान जी मंगल ग्रह के प्रभावों को शांत करने वाले देवता हैं, इसलिए मंगलवार को उनकी पूजा करने से कुंडली के मंगल दोष दूर होते हैं।
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रामायण से जुड़ी मान्यता: कहा जाता है कि लंका में हनुमान जी द्वारा की गई लंका दहन की घटना मंगलवार को हुई थी। उस दिन उन्होंने अकेले ही रावण की सोने की लंका को जलाकर भस्म कर दिया था। यह दिन उनके बल, बुद्धि और विजय का प्रतीक बन गया।
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मंगलवार और संकटमोचन स्वरूप: हनुमान जी को "संकटमोचन" कहा जाता है, यानी जो हर संकट को दूर करें। मंगलवार को व्रत रखने और पूजन करने से आकस्मिक दुर्घटनाओं, भय, रोग, शत्रु बाधा और कोर्ट-कचहरी जैसे मामलों में राहत मिलती है।
मंगलवार के व्रत में क्या करें?
जो भक्त मंगलवार के दिन व्रत रखते हैं, उनके लिए कुछ नियम और अनुशासन बताए गए हैं:
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सुबह ब्रह्म मुहूर्त में उठें और स्नान करें। लाल वस्त्र पहनना शुभ माना जाता है।
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हनुमान चालीसा, सुंदरकांड या बजरंग बाण का पाठ करें।
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हनुमान जी को सिंदूर, चमेली का तेल, लाल फूल और गुड़-चना चढ़ाना विशेष फलदायी होता है।
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व्रत रखने वाले व्यक्ति को दिनभर एक समय फलाहार करना चाहिए और पूरी श्रद्धा से मन, वचन और कर्म से पवित्रता बनाए रखनी चाहिए।
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मंगलवार को ब्राह्मण या किसी ज़रूरतमंद को भोजन कराना या दान देना भी शुभ माना जाता है।
इन बातों का रखें खास ध्यान, वरना व्रत अधूरा रह सकता है
हनुमान जी ब्रह्मचारी हैं और बहुत ही तेजस्वी देवता हैं। उनकी पूजा में लापरवाही नहीं करनी चाहिए:
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मांस-मदिरा, प्याज-लहसुन का सेवन न करें – यह व्रत की पवित्रता को भंग करता है और हनुमान जी की कृपा दूर हो सकती है।
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झूठ बोलने, कटु वचन कहने, छल-कपट करने से बचें – मंगलवार को केवल उपवास ही नहीं, बल्कि सदाचार का पालन भी ज़रूरी है।
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मंदिर में खाली हाथ न जाएं – सिंदूर, तेल, गुड़-चना या केला जैसे प्रसाद अवश्य लेकर जाएं।
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विवाहित स्त्रियों को हनुमान जी के प्रति पूर्ण श्रद्धा रखते हुए पूजा करनी चाहिए, लेकिन कुछ विशेष पूजा विधियों में उन्हें सीमित भूमिका निभाने को कहा गया है।
मंगलवार को हनुमान जी की कृपा से मिलते हैं ये विशेष लाभ
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नौकरी और करियर में सफलता
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शत्रु से मुक्ति
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साहस और आत्मबल में वृद्धि
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कर्ज़ से राहत
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शनि और मंगल दोष से मुक्ति
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स्वास्थ्य संबंधी परेशानियों का अंत
निष्कर्ष
मंगलवार को हनुमान जी की पूजा करना केवल एक धार्मिक परंपरा नहीं है, बल्कि यह शक्ति, साहस, समर्पण और सद्गुणों की साधना का दिन है। अगर श्रद्धा और नियमों के साथ इस दिन पूजा की जाए और व्रत रखा जाए, तो हनुमान जी की कृपा से हर संकट टल सकता है और जीवन में सुख-शांति का संचार होता है।
तो अगली बार जब आप मंगलवार का व्रत रखें या हनुमान मंदिर जाएं, तो इन बातों को जरूर याद रखें – क्योंकि सही विधि और सच्चे मन से की गई पूजा ही भक्त और भगवान के बीच सच्चा संबंध स्थापित करती है।