Holi 2024 यहां मनाई जाती हैं विश्व प्रसिद्व लट्ठमार होली, जानिए क्या हैं परंपरा और इसका महत्व ?

लठमार होली कहाँ खेली जाती है?
लट्ठमार होली उत्तर प्रदेश में मथुरा के आसपास के कस्बों बरसाना और नंदगांव में मनाई जाती है। हर साल देश भर से लोग बड़ी संख्या में यहां आते हैं और लट्ठमार होली का आनंद लेते हैं। पूरे भारत में इस तरह के अनुष्ठान वाला यह एकमात्र त्योहार है।
लट्ठमार होली की परंपरा
लठमार होली मनाने की एक विशेष परंपरा है। होली के दिन महिलाएं पुरुषों पर लाठियां बरसाती हैं। महिलाएं उन्हीं पुरुषों पर लाठियां फेंकती हैं जो उन पर रंग डालते हैं। पुरुष भी ख़ुशी-ख़ुशी लाठियाँ झेलते हैं। यह त्यौहार पूरे एक सप्ताह तक चलता है, जिसे स्थानीय लोग जोश और उत्साह के साथ मनाते हैं।
लट्ठमार होली क्यों मनाते हैं?
पौराणिक कथाओं के अनुसार, भगवान कृष्ण वृन्दावन में राधा जी और गोपियों के साथ होली खेलते थे। कृष्ण जी मथुरा से 42 किलोमीटर दूर राधा की जन्मस्थली बरसाना में आकर होली खेलते थे। तभी से लट्ठमार होली का चलन हो गया.
महत्त्व
आज भी नंदगांव से पुरुष हर साल बरसाना पहुंचते हैं, जहां बरसाना की महिलाएं लाठियों से उनका स्वागत करती हैं। महिलाएं पुरुषों पर लाठियां फेंकती हैं और पुरुष ढाल लेकर भागने की कोशिश करते हैं। यह त्यौहार बरसाना में राधा रानी मंदिर के विशाल परिसर में मनाया जाता है।