शफीकुर्रहमान बर्क, 93 वर्ष के, 17वीं संसद के सबसे बुजुर्ग सदस्य हैं।
उनका जन्म 11 जुलाई 1930 को हुआ था, वे समाजवादी पार्टी के नेता हैं।
उन्होंने पहली बार 1974 में संभल से MLA बने थे और 2019 में संभल से लोकसभा के लिए चुने गए थे।
वे 4 बार MLA और 5वीं बार MP रहे हैं, 1974 से 1991 तक MLA रहे, फिर 1996 से वर्तमान तक सांसद हैं।
शफीकुर्रहमान बर्क पीएम मोदी के विरोधी माने जाते हैं और PFI और तालिबान का समर्थन और वंदेमातरम का विरोध किया है।
उन्होंने कहा है कि कोई भी मुसलमान कब्जे की जमीन पर बनी मस्जिद में नमाज नहीं पढ़ सकता।
वे 19 सितंबर से संसद नए भवन में अपने कार्य को आरंभ करेंगे।
पीएम मोदी ने पुराने संसद भवन में अपनी आखिरी स्पीच में उनका विशेष जिक्र किया।
भारत के संसद भवन की ऐतिहासिक कहानी शुरू से अब तक 7500 से अधिक प्रतिनिधि दोनों सदनों में आ चुके हैं।