आखिर क्या है कारण, जो इस गांव में जवान होते ही लड़कियां बन जाती हैं लड़का, कोई नहीं सुलझा पाया ये रहस्य? वीडियों मे जानिए भारत के सबसे शापित किले के बारे में
अजब गजब न्यूज डेस्क !!! दुनिया में कई ऐसी अजीबोगरीब जगहें हैं जिनके रहस्य आज तक कोई नहीं सुलझा पाया है। आपने भी कई ऐसी जगहों के बारे में सुना होगा जहां सबसे ज्यादा जुड़वां बच्चे पैदा होते हैं। एक जगह ऐसी भी है जहां लोग ज्यादातर समय सोते हैं। लेकिन क्या आपने ऐसी जगह के बारे में सुना है जहां महिलाओं के गर्भ से लड़कियां पैदा होती हैं, लेकिन बाद में वो लड़के बन जाते हैं। इस अजीबोगरीब जगह ने वैज्ञानिकों को भी हैरान कर रखा है. ऐसा क्यों होता है इसका रहस्य आज तक पता नहीं चल पाया है।
दरअसल, दुनिया के नक्शे पर डोमिनिकन रिपब्लिक नाम का एक गांव है। यहां की लड़कियां एक निश्चित उम्र में लड़का बन जाती हैं। इस वजह से लोग इस गांव को शापित गांव मानते हैं। इस गांव का नाम ला सेलिनास है। इस गांव की लड़कियां 12 साल की उम्र में लड़का बन जाती हैं। यह गांव समुद्र के किनारे स्थित है। इसकी आबादी करीब 6 हजार है. यह छोटा सा गांव अपने अनोखे आश्चर्य के कारण दुनिया भर के शोधकर्ताओं के लिए शोध का विषय बन गया है। इसे एक रहस्यमयी गांव के रूप में जाना जाता है।
यहां के लोगों का मानना है कि गांव पर किसी अदृश्य शक्ति का साया है। वहीं कुछ लोग इस गांव को शापित गांव मानते हैं। गांव की सबसे बड़ी समस्या ये है कि यहां लड़कियां पैदा होती हैं. लेकिन 12 साल की उम्र में वह लड़का बन जाती है। लड़की से लड़का बनने की इस बीमारी से गांव के लोग काफी परेशान हैं।जब भी किसी गांव में लड़की का जन्म होता है तो परिवार में मातम मनाया जाता है। क्योंकि वह भी बड़ी होकर लड़का बनेगी. इसके चलते गांव में लड़कियों की संख्या कम हो गई है. इस गांव में बीमार बच्चों को हेय दृष्टि से देखा जाता है। ऐसे बच्चों को 'ग्वेडोचे' कहा जाता है।
स्थानीय भाषा में इस शब्द का मतलब किन्नर होता है होता है. डॉक्टरों के मुताबिक, यह बीमारी एक आनुवंशिक विकार है और स्थानीय भाषा में इससे पीड़ित बच्चों को 'स्यूडोहर्मैफ्रोडाइट' कहा जाता है। इस बीमारी में लड़कियों के रूप में पैदा होने वाले कुछ बच्चों के शरीर में धीरे-धीरे पुरुषों जैसे अंग विकसित होने लगते हैं। उसकी आवाज भी भारी हो जाती है. उनके शरीर में बदलाव होने लगते हैं, जो धीरे-धीरे उन्हें लड़की से लड़का बना देते हैं। कई शोधकर्ताओं ने इस बीमारी का इलाज ढूंढने की कोशिश की है, लेकिन वे असफल रहे हैं